उज्ज्वल दुनियानई दिल्ली, 10 सितम्बर (हि.स.)। पैंगोंग झील के दक्षिण किनारे पर सोमवार रात हुई फायरिंग के बाद भारतीय और चीनी सेना के ब्रिगेडियर कमांडर ने मंगलवार को आमने-सामने बैठकर वार्ता करने के बजाय हॉटलाइन पर बैठक की। इस दौरान दोनों पक्षों के अधिकारियों ने हॉटलाइन पर गर्म तर्कों का आदान-प्रदान किया।
पीएलए सैनिकों के मध्ययुगीन हथियारों पर जताया कड़ा ऐतराज
भारतीय ब्रिगेडियर ने चीन पर एलएसी के बिलकुल करीब पोस्ट बनाकर मौजूदा तनाव को बढ़ाने के लिए कसूरवार ठहराया। ब्रिगेडियर ने भारतीय सेनाओं के प्रभुत्व वाली मुखपारी चोटी पर मध्ययुगीन हथियार के साथ घुसपैठ करने के लिए चीनी सैनिकों की कोशिश पर भी कड़ा ऐतराज जताया।
चीनी ब्रिगेडियर ने बताया चीन की मार्शल संस्कृति का हिस्सा
सूत्रों के अनुसार दोनों पक्षों के अधिकारियों ने हॉटलाइन पर गर्म तर्कों का आदान-प्रदान किया। भारतीय ब्रिगेडियर ने घुसपैठ के दौरान पीएलए सैनिकों के ‘मध्ययुगीन’ हथियार का इस्तेमाल किये जाने का हॉटलाइन पर काफी तीखे शब्दों में विरोध जताया। जब पीएलए सैनिकों द्वारा इस्तेमाल किए जाने वाले हथियारों के बारे में सवाल किया गया, तो चीनी ब्रिगेडियर ने कहा कि यह हथियार (‘गुआंडो’ के समान) चीन की मार्शल संस्कृति का हिस्सा थे। हॉटलाइन पर बातचीत के दौरान भारतीय ब्रिगेडियर ने चीन पर पक्के निर्माण करने और एलएसी के करीब नई पोस्ट बनाने का प्रयास करके तनाव बढ़ाने का आरोप लगाया।