इस्तांबुल: रूस और यूक्रेन के प्रतिनिधिमंडलों के बीच तुर्की के इस्तांबुल में सोमवार को हुई शांति वार्ता लगभग एक घंटे में समाप्त हो गई। यूक्रेनी राष्ट्रपति वलोडिमिर ज़ेलेंस्की और रूसी राज्य मीडिया ने इसकी पुष्टि की।
लिथुआनिया की राजधानी विलनियस से ज़ेलेंस्की ने बताया कि दोनों देशों ने “तुर्की पक्ष के माध्यम से दस्तावेजों का आदान-प्रदान किया है और युद्धबंदियों की नई अदला-बदली की तैयारी कर रहे हैं।”
हालांकि, इस वार्ता से किसी ठोस समाधान की उम्मीद कम ही थी, क्योंकि सप्ताहांत में यूक्रेन की ओर से रूस के अंदर किए गए अभूतपूर्व ड्रोन हमलों ने स्थिति को और तनावपूर्ण बना दिया है। यूक्रेन का दावा है कि उसने रूस के आर्कटिक, साइबेरिया और सुदूर पूर्व में स्थित एयरबेस पर एक साथ हमला कर लगभग 40 से अधिक युद्धक विमानों को नष्ट या क्षतिग्रस्त कर दिया।
यूक्रेनी सुरक्षा सेवा प्रमुख वासिल मलियुक ने इस ऑपरेशन को “रूस की सैन्य शक्ति पर बड़ा तमाचा” बताया। ज़ेलेंस्की ने इसे “इतिहास में दर्ज होने वाला शानदार ऑपरेशन” करार दिया।
रूस ने रविवार को यूक्रेन पर 472 ड्रोन दागे, जो 2022 से शुरू हुई पूर्ण युद्ध की सबसे बड़ी ड्रोन संख्या थी। यूक्रेनी वायु सेना के अनुसार, यह हमला यूक्रेन की वायु रक्षा प्रणाली को पस्त करने के उद्देश्य से किया गया था।
तुर्की के विदेश मंत्री हाकान फिदान की अध्यक्षता में इस्तांबुल के सर्कान पैलेस में हुई इस बैठक में संघर्षविराम की शर्तों पर चर्चा हुई। यह वही जगह है जहां 16 मई को भी दोनों पक्षों के बीच बातचीत हुई थी और तब 1,000 युद्धबंदियों की अदला-बदली हुई थी।
यूक्रेन ने रूस को उन बच्चों की आधिकारिक सूची भी सौंपी जिन्हें जबरन रूस भेजा गया है और जिन्हें यूक्रेन वापस लाना चाहता है। ज़ेलेंस्की ने यह भी कहा कि अगर इस वार्ता से कुछ हासिल नहीं होता है तो रूस पर और कड़े प्रतिबंध लगाए जाने चाहिए।
हालांकि, युद्धविराम को लेकर अब भी दोनों पक्षों के रुख में गहरी खाई बनी हुई है। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की कोशिशों के बावजूद कोई स्थायी समाधान नहीं निकल सका है।
फ्रंटलाइन पर भीषण संघर्ष जारी है। रूसी हमलों में ज़ापोरिज़्ज़िया और खेरसॉन क्षेत्र में नागरिकों की मौत हुई है, वहीं यूक्रेनी हमलों में रूस के कई ड्रोन और सैन्य ठिकाने तबाह हुए हैं।