जेबीवीएनएल के ईडी केके वर्मा ने बताया कि 13 जनवरी तक के लिये डीवीसी से समय मांगा गया है. इस दौरान जेबीवीएनएल सौ करोड़ डीवीसी को भुगतान कर देगी. इसके पहले 20 दिसंबर तक 50 करोड़ का भुगतान कर दिया गया है.
इन सबके बावजूद सात जिलों के बिजली उपभोक्ताओं को 12 घंटे तक बिजली कटौती का सामना करना पड़ रहा है. बता दें ये बिजली कटौती जेबीवीएनएल के पास लगभग पांच हजार करोड़ रूपये बकाया भुगतान के लिये की जा रही है. जो काफी समय से लंबित है. डीवीसी की ओर से इस बार बिजली कटौती अलग-अलग चरणों में की जा रही है.
दिसंबर की बिलिंग से होगा भुगतान
वर्मा ने बताया कि दिसंबर महीने में जेबीवीएनएल को 400 करोड़ रूपये बिलिंग वूसली से प्राप्त हुआ है. ऐसे में इसी राजस्व से सौ करोड़ डीवीसी को दी जायेगी. उन्होंने कहा कि जेबीवीएनएल इस समस्या के स्थायी समाधान के लिये तत्पर है.
जल्द ही इसका समाधान निकाला जायेगा. फिलहाल सात जिलों में बिजली व्यवस्था सामान्य रहें इस पर बल दिया जा रहा है. डीवीसी की ओर से 18 दिसंबर 2020 बिजली कटौती के लिये अल्टीमेटम दी गयी.
दस जनवरी से 60 फीसदी कटौती होगी
डीवीसी के अल्टीमेटम के अनुसार दस जनवरी से 60 फीसदी बिजली कटौती की जायेगी. वहीं चार से दस जनवरी तक 50 फीसदी बिजली कट रही है. वहीं अगर बकाया भुगतान नहीं किया गया तो 18 से 24 दिसंबर तक 70 फीसदी बिजली कटौती की जायेगी.
सात जिलों में छह सौ मेगावाट बिजली देता है डीवीसी
राज्य के सात जिलों में 600 मेगावाट बिजली दी जाती है. साल में ये दूसरी बार है जब डीवीसी सात जिलों की बिजली कटौती कर रहा है. इसके पहले फरवरी और मार्च के बीच लगभग दो सप्ताह बिजली कटौती की गयी थी.
इस दौरान डीवीसी ने 18 से 20 घंटे तक बिजली कटौती की थी. इन सात जिलों में गिरिडीह, बोकारो, धनबाद, रामगढ़, चतरा, कोडरमा, देवघर में बिजली आपूर्ति की जाती है.