मेदिनीनगर (उज्ज्वल दुनिया): खाने-पीने, गिरने-पड़ने, मारने-मरने और रईसजादगी के लिए मशहुर डाॅ. राहुल अग्रवाल का परिवार एक बार फिर सुर्खियों में आ गया है। हालांकि इस बार गलती डाॅ. राहुल अग्रवाल की नहीं बल्कि उनकेे भाई डाॅ. गौरव अग्रवाल ने की है। कल रात नशे में धूत डाॅ. गौरव अग्रवाल ने रांची से डालटनगंज आने के क्रम में जानलेवा स्थान चियांकी के पास शाम लगभग 7.20 बजे तब एक मोटरसाइकिल को अपना निशाना बनाया जब मोटरसाइकिल सवार युगल जोड़ी पति-पत्नी डालटनगंज से अपना घर केचकी जा रहे थे। विपरीत दिशा से तकरीबन 200 से 220 की स्पीड में आ रही डाॅ. गौरव की चार पहिया वाहन(फोर्ड इंडीवर जेएच 03 जे 0012) ने देखते ही देखते इतनी जोरदार रफ्तार से मोटरसाइकिल में धक्का मारी कि मोटरसाइकिल डाॅक्टर के चार पहिये वाहन के नीचे जा घूसी और बहुत देर यानी दो-तीन मिनट तक तो डाॅक्टर को भी पता नहीं चला कि उन्हांेने इतनी बड़ी घटना को अंजाम दिया है। जब मोटरसाइकिल चार पहिये वाहन के नीचे घसिटाते हुए कुछ दूर तक चला गया तब अचानक गाड़ी बढ़ना खुद से बंद हो गया। उसके बाद झटके से दुर्घटनाग्रस्त मोटरसाइकिल और उसमे सवार दोनों पति-पत्नी को बाहर निकाला गया। इतने में डाॅ. गौरव का सारा नशा फट गया और देखते-देखते उनके और उनके साथ कार में यात्रा करने वाले एक अन्य सहयोगी के हाथ-पांव फुलने लगे। उनलोगों के चेहरे लाल-पीले होने लगे। इधर, बाईक पर सवार पति-पत्नी में से पुलिसकर्मी पति गोपाल सिंह जो सतबरवा थाना के डबरा पिकेट पर जैप के जवान के रूप में तैनात थे, ने घटनास्थल पर ही सेकेंडों में दम तोड़ दिया। पत्नी पूनम देवी अधमरा हो गयी। देखते-देखते वहां पर राहगीरों की भीड़ जुट गयी। जब तक राहगीर पूरा वाक्या समझते तब तक कुछ चापुलूसी करने वाले डाॅक्टर के चहेतों ने डाॅक्टर और उनके एक अन्य सहयोगी को वहां से मोटरसाइकिल में बैठा कर नौ-दो-ग्यारह करा दिया। उसके बाद जब भीड़ जुटने लगी और इस आशय की खबर पुलिस महकमे को लगी तो पूरा माहौल आक्रोशित हो उठा और घंटों तक वहां पर पहुंचे अन्य पुलिसकर्मी तांडव मचाते रहे। भारी आक्रोश का नतीजा यह हुआ कि लाखों की डाॅ. गौरव की दुर्घटनाग्रस्त गाड़ी को आक्रोशित लोगों ने मार-मार कर बुरी तरह से क्षतिग्रस्त कर दिया। काफी समझाने-बुझाने के बाद मामले को नियंत्रण में लेने के फलस्वरूप डाॅक्टर के क्षतिग्रस्त फोर्ड इंडीवर को थाने में लाया गया। उधर, मृतक पुलिसकर्मी की अधमरी पत्नी ने भी आज अहले सुबह दम तोड़ दिया। इस तरह से डाॅक्टर की नशे ने कल रात दो निर्दोषों की जान ले ली और एक रक्षक ही भक्षक बन गए। प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि डाॅक्टर की फोर्ड इंडीवर में ग्लास और शराब की बोतल देखे गए। प्रत्यक्षदर्शी यह भी बताते हैं कि डाॅक्टर खुद से गाड़ी को ड्राईव कर रहे थे। इस घटना के बाद पूरा पुलिस महकमे सकते में पड़ गया है। पलामू के सहायक पुलिस अधीक्षक के. विजयशंकर ने बताया कि कल की घटना डाॅ. गौरव के नशे में धूत होकर वाहन चलाने का परिणाम है। पुलिस ने मृतक पुलिसकर्मी के पुत्र के लिखित शिकायत के आधार पर डाॅ. गौरव समेत अन्य पर नामजद प्राथमिकी दर्ज कर ली है। पुलिस लगातार डाॅक्टर के ठिकानों पर छापेमारी कर रही है लेकिन डाॅ. गौरव तथा उनके सहयोगी फरार चल रहे हैं। एएसपी श्री शंकर ने बताया कि फिलहाल डाॅक्टर भूमिगत जरूर हो सकते हैं लेकिन पलामू पुलिस उन्हें बख्शने नहीं जा रही है। हर हाल में डाॅक्टर की गिरफ्तारी अविलंब होगी। उन्होंने बताया कि पलामू एसपी संजीव कुमार के निर्देश पर डाॅक्टर की गिरफ्तारी के लिए टीम भी गठित कर ली गयी है। ईधर, मरणोपरांत मृतक पुलिसकर्मी गोपाल सिंह को स्थानीय पुलिस लाईन में पलामू एसपी संजीव कुमार और एएसपी के. विजयशंकर समेत कई पुलिस अधिकारियों ने उन्हें सलामी दी। यहां उल्लेखनीय है कि दुबियाखाड़
से लेकर चियांकी हवाई अड्डा तक जानलेवा स्थल के रूप में आज से नहीं बल्कि कई वर्षों से जाना जाता रहा है। इस क्षेत्र में हर साल कोई ना कोई बड़ी घटना घटती रही है और लोगों की जाने जाती रही है। जहां तक डाॅ. गौरव का सवाल है तो वे शहर में एक प्रतिष्ठित चिकित्सक के रूप में जाने जाते हैं, किन्तू कल की घटना ने उनके व्यक्तित्व पर एक पियक्कड़ होने का भी धब्बा लगाकर उन्हें दागदार बना दिया है। अब देखने वाली बात यह है कि पलामू पुलिस एक पुलिसकर्मी की गैर इरादतन हत्या के मामले में डाॅ. गौरव के खिलाफ किस तरह का रूख अपनाते हुए उनकी गिरफ्तारी और उनके खिलाफ चार्जशीट दाखिल करती है। अब सबकी निगाहे पुलिसिया कार्रवाई पर टिकी हुई है कि मृतक पुलिस को कैसे इंसाफ मिले।
नशेबाज डाॅ. गौरव की कार ने ली पति
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