Friday 22nd of November 2024 08:22:40 AM
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झारखंड में चलना ही नृत्य है और बोलना ही गान है

प्रकृति से मानव जीवन के गहरे जुड़ाव का पर्व है करमा
प्रकृति से मानव जीवन के गहरे जुड़ाव का प्रतीक है करमा पर्व

रांची।   मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन रांची वीमेंस कॉलेज (साइंस ब्लॉक) स्थित आदिवासी छात्रावास परिसर में प्रकृति पर्व करमा के अवसर पर आयोजित समारोह में शामिल हुए । मुख्यमंत्री ने कहा कि यह पर्व अपनी समृद्ध परंपरा , सभ्यता और संस्कृति को अक्षुण्ण रखने का प्रतीक है । हम इस पर्व के माध्यम से अपनी सभ्यता और संस्कृति को और मजबूत बनाने का संकल्प लें ।

उन्होंने कहा कि करमा सिर्फ त्यौहार मात्र नहीं है, बल्कि यह कई संदेश भी हमें देता है । यह पर्व मानव जीवन का प्रकृति से अटूट लगाव को दर्शाता है । सदियों से मानव सभ्यता और प्रकृति के बीच के समन्वय को बताता है । मुख्यमंत्री ने कहा कि झारखंड में चलना ही नृत्य है और बोलना ही गान है । करमा पर्व इसी की पहचान है ।

आपकी ताकत से कोरोना को नियंत्रित करने में हो रहे कामयाब

मुख्यमंत्री ने कहा कि लगभग डेढ़ सालों से पूरी दुनिया कोरोना महामारी को झेल रही है । इस वजह से पूरी व्यवस्था अस्त व्यस्त हो गई । झारखंड भी इससे अछूता नहीं रहा, लेकिन आपके सहयोग और ताकत से हम कोरोना को नियंत्रित करने में कामयाब हुए हैं ।झारखंड में कोरोना को काबू करने के लिए सरकार ने जो कदम उठाए, वह पूरी दुनिया के लिए मिसाल बन गई । अब वैश्विक महामारी के इस दौर से आगे निकलते हुए विकास को रफ्तार देने की दिशा में तेजी से आगे बढ़ रहे हैं ।

मांदर की थाप पर थिरके कदम

इससे पहले करमा परब आयोजन समिति के द्वारा मुख्यमंत्री का परंपरागत तरीके से स्वागत किया गया । मुख्यमंत्री ने करम राजा की पूजा की । इस दौरान मुख्यमंत्री ने मांदर पर थाप दी तो छात्र छात्राओं के कदम थिरक रहे थे । समारोह में मुख्यमंत्री को आयोजकों की ओर से सप्रेम औषधि पौधे भेंट किए गए ।

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