1 जुलाई से झारखंड स्थित सेल के सभी खदान और कोलियरी बोकारो स्टील प्लांट के अधीन आ गए हैं । अब इन खदानों और कोलियरी का संचालन सीधे बीएसएल के निदेशक प्रभारी की देख-रेख में होगा ।
इस बीच सेल के रॉ मैटीरियल डिवीजन के संगठनात्मक परिवर्तन के खिलाफ कोलकाता स्थित रॉ मैटीरियल डिवीजन एम्प्लाइज यूनियन द्वारा कोलकाता उच्च न्यायालय में दर्ज रिट याचिका को माननीय कोलकाता उच्च न्यायालय ने खारिज कर दिया है । कोलकाता उच्च न्यायालय ने अपने आदेश में कहा है कि सेल एक कमर्शियल संगठन है और व्यवसाय से संबंधित अपने निर्णय ले सकता है । न्यायालय ने यह भी कहा कि रॉ मैटीरियल डिवीजन के संगठनात्मक परिवर्तन से इस इकाई में कार्यरत कर्मचारियों की सेवा के शर्तों में कोई बदलाव नहीं हुआ है और उनका सेल के किसी भी इकाई में स्थानांतरण हो सकता है ।
इस आदेश के बाद अब कोलकाता स्थित रॉ मैटीरियल डिवीजन के कुछ कर्मचारियों की पोस्टिंग बोकारो स्टील प्लांट में हो सकती है।