शिवसेना ने अपने मुखपत्र “सामना” के संपादकीय में लिखा है कि राहुल गांधी का मोदी विरोध सिर्फ ट्विटर तक ही दिखता है। तंज करते हुए शिवसेना ने लिखा है कि राहुल गांधी को शरद पवार से सिखना चाहिए। इतना ही नहीं, सामना ने यह भी लिखा है कि कांग्रेस को शरद पवार का साथ देना चाहिए।
लगातार हो रही है कांग्रेस-शिवसेना के बीच बयानबाज़ी
पिछले कुछ दिनों से कांग्रेस और शिवसेना के बीच बयानबाज़ी तेज है। सबसे पहले महाराष्ट्र कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष नाना पटोले ने कहा कि कांग्रेस अगला चुनाव अपने दम पर अकेले लड़ेगी । फिर उद्धव ठाकरे ने शिवसेना की स्थापना दिवस पर कहा कि जो अकेले लड़ने की बात करेगा, उसे जनता जूतों से पीटेगी । और अब सीधे राहुल गांधी पर तंज । शिवसेना के संपादक राज्यसभा सांसद संजय राऊत हैं, और ऐसा माना जाता है कि शिवसेना के संपादकीय को खुद उद्धव ठाकरे क्लीयरेंस देते हैं।
तीसरे मोर्चे की बैठक की तारीफ
शिवसेना ने सामना में शरद पवार के घर विपक्षी दलों की बैठक की तारीफ करने हुए लिखा है कि अपने तमाम कमियों के बावजूद मोदी आश्वस्त हैं कि उनकी सरकार को खतरा नहीं है। क्योंकि मोदी को पता है कि सामने राहुल गांधी हैं। राहुल विरोध तो करते हैं लेकिन उनका विरोध ट्विटर से आगे नहीं बढ़ पाता ।
एक-दूसरे को गाली देते रहेंगे, लेकिन चलती रहेगी सरकार
महाराष्ट्र के वरिष्ठ पत्रकार एसएम देशमुख कहते हैं कि तमाम विरोधाभास और एक-दूसरे पर टिका-टिप्पणी के बावजूद महाविकास अघाड़ी की सरकार फिलहाल चलती रहेगी । ऐसा इसलिए क्योंकि तीनों दलों को पता है कि सामने मोदी है और कोई भी दल चुनाव का जोखिम नहीं ले सकता। तीनों दलों की सरकार चलते रहने का एक कारण है पैसा । अनिल देशमुख, सचिन वाझे वाले मामले में पूरे देश ने देखा कि महाराष्ट्र में क्या हो रहा है।