म्यांमार में शुक्रवार सुबह 11:50 बजे 7.7 तीव्रता का भूकंप आया, जिसके झटके भारत, थाईलैंड, बांग्लादेश और चीन तक महसूस किए गए। अब तक म्यांमार और थाईलैंड में 150 से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है और 732 लोग घायल हुए हैं।
बैंकॉक में इमारत गिरी, 110 लोग मलबे में दबे
थाईलैंड की राजधानी बैंकॉक में एक निर्माणाधीन 30 मंजिला इमारत भूकंप के कारण गिर गई। इस साइट पर 400 लोग काम कर रहे थे, जिनमें से 110 लोग मलबे में दबे हैं। तीन लोगों की मौत की पुष्टि हुई है।
थाईलैंड में आपातकाल घोषित
भारी तबाही को देखते हुए थाईलैंड की प्रधानमंत्री पाइतोंग्तार्न शिनवात्रा ने आपातकाल की घोषणा कर दी है।
12 मिनट बाद आया 6.4 तीव्रता का आफ्टरशॉक
भूकंप के 12 मिनट बाद म्यांमार में 6.4 तीव्रता का आफ्टरशॉक आया, जिससे और अधिक नुकसान हुआ।
मांडले शाही महल को नुकसान, सागाइंग क्षेत्र में पुल ध्वस्त
म्यांमार के ऐतिहासिक मांडले पैलेस का कुछ हिस्सा ढह गया। सागाइंग क्षेत्र में एक पुल भी पूरी तरह नष्ट हो गया। राजधानी नेपीदा समेत कई शहरों में इमारतें गिर गईं।
भूकंप का कारण: सागाइंग फॉल्ट
भूकंप म्यांमार में मौजूद सागाइंग फॉल्ट के कारण आया। यह 1,200 किमी लंबी दरार है, जो अंडमान सागर से हिमालय की तलहटी तक फैली हुई है। इससे पहले 2012 में इसी फॉल्ट के कारण 6.8 तीव्रता का भूकंप आया था।
प्राकृतिक आपदा का तांडव
इस विनाशकारी भूकंप ने दिखा दिया कि प्रकृति कितनी शक्तिशाली हो सकती है। लोगों के घर, ऐतिहासिक इमारतें और बुनियादी ढांचा पल भर में नष्ट हो गया। राहत और बचाव कार्य जारी है।